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क्या होता है ? FASTag और फास्टैग से समय की बचत 2023

FASTag क्या  हैं?

 

फास्टैग एक ऐसा सिस्टम होता हैं ! जो राष्टीय राजमार्ग पर चलने वाली वाहनों से ऑटोमैटिक टूल टैक्स की वसूली करता हैं!  यह एक ATM या SIM कार्ड की तरह होता हैं !  जो वाहनों के विंडस्क्रीन (ड्राइवर सीट के ऊपरी मिरर)  के ऊपर लगा होता हैं ताकि टोल प्लाजा में लगे सेंसर आसानी से एक्सेस कर पाए !  इसे ही फास्टैग सुविधा कहते हैं !

प्रत्येक 4 पहिया वाहन चालकों को फास्टैग लगाना बहुत जरुरी हो गया हैं !  यह ऑनलाइन काम करता हैं !  जब टोल प्लाजा से कोई वाहन गुजरती हैं तब उन्हें कैश में भुगतान नहीं करना पड़ता हैं !  यह टोल प्लाजा के द्वारा ऑनलाइन ऑटोमैटिक भुगतान हो जाता हैं।इसके लिए वाहनों  टोल प्लाजा पर रुकना नहीं पड़ता हैं !  फास्टैग को समय-समय पर रिचार्ज किया जाता हैं !

 

FASTag काम कैसे करता हैं?, फास्टैग की शुरुआत कब हुआ?

फास्टैग कैसे काम करता हैं :

FASTag RFID टेक्नोलॉजी पर कार्य करता हैं। RFID का मतलब Radio-Frequency IDentification जो एक फ्रीक्वेंसी छोड़ती हैं R.F.I.D दो प्रकार के होते हैं।

  1. Passive RFID – यह वाहनों में लगा होता हैं। यानि की FASTag एक पैसिव RFID हैं जिनका कोई स्वतः कार्य नहीं होता हैं। इनमे बैटरी नहीं लगा होता हैं जैसे की हमारा मोबाइल सिम एक पैसिव RFID डिवाइस के अंतर्गत आता हैं। यह किसी अन्य डिवाइस पर निर्भर करते हैं।
  2. Active RFID – यह टोल प्लाजा में लगा होता हैं। जो फास्टैग को स्कैन करने में काम करता हैं। यानि की टोल प्लाजा के सेंसर एक एक्टिव RFID हैं जिनमे बैटरी लगा होता हैं।

शुरुआत भारत में सबसे पहले अहमदाबाद और मुंबई हाईवे के बिच 2014 में शुरू किया गया था। लेकिन आज के समय में लगभग हर राष्टीय राजमार्ग पर शुरू हो गया हैं। अभी तक भारत देश में 332 टोल प्लाजाओं पर फास्टैग की सुविधा को शुरू कर दिया गया हैं !

 

FASTag   से सुविधा:-

1. फास्टैग से समय की बचत

फास्टैग से समय की बहुत ज्यादा बचत होती हैं। फास्टैग ऑनलाइन काम करता हैं जब आप टोल-प्लाजा से अपने वाहन को पर करते हैं तब टोल-प्लाजा में लगे सेंसर आपके फास्टैग के संपर्क में आकर ऑटोमैटिक टूल टैक्स काट लेता हैं। और आपको टोल-प्लाजा पर रुकना नहीं पड़ता हैं।

पहले फास्टैग नहीं था तो लोग घंटों लाइन में लग कर अपने टूल टैक्स जमा करते थे। लेकिन फास्टैग स्वतः बिना रुके काम करता हैं जिनसे समय की बचत होती हैं।

2. फास्टैग से डीजल एवं पेट्रोल की बचत

फास्टैग सुविधा से डीजल-पेट्रोल की अधिक मात्रा में बचत होती हैं। जब फास्टैग नहीं था तब लोग लम्बी-लम्बी लाइनों में लग कर टोलप्लाजा के पास धीरे-धीरे अपने वाहनों को चालू हालत में पार करते थे जिनसे घंटों समय तक वाहन चालू रहती थी और डीजल-पेट्रोल की बर्बादी होती थी।

3. FASTag  से प्रदूषण में कमी

फास्टैग ने आज भारत के हर शहर को ज्यादा प्रदूषण होने से बचा लिया हैं ! फास्टैग वाहनों में लग जाने से लोग अपने कामो को तेजी से बिना वाहन रोके करते हैं। जिनसे प्रदूषण कम फैलता हैं !

4. फास्टैग से एक्सीडेंट एवं लूट-पाट में कमी

जब फास्टैग की सुविधा नहीं थी तब टोल-प्लाजा के कर्मचारी स्वतः ऑफलाइन टूल टैक्स काटते थे!  जिनसे पैसों की अधिक मात्रा जमा हो जाता था और लूट-पाट की समस्या बानी रहती थी !  लेकिन फास्टैग की सुविधा हो जाने पर पैसा ऑटोमैटिक सरकार के बैंक खाते में चला जाता हैं !  और लूट-पाट भी नहीं होता हैं !

तथा घंटों लम्बी लाइन लगे रहे लोग जब टोल-प्लाजा से छूटते थे ! तब अपने वाहनों को तेजी से अपने घर, ऑफिस ले कर जाते थे। क्योकि कही देर न हो जाये इसी में एक्सीडेंट होने का खतरा ज्यादा हो जाता था !  लेकिन आज ऐसा नहीं हैं !

5. कैशबैक एवं SMS की सुविधा

फास्टैग वाहनों में लग जाने से लोगो को बहुत ज्यादा राहत मिली हैं !  लोगो को टूल टैक्स देने में भी बहुत आराम हुआ हैं !  साथ ही साथ टूल टैक्स की सभी जानकारी उनके मोबाइल पर SMS के जरिये भी मिल जाता हैं !  भारत सरकार वाहन चालकों को समय समय पर कुछ कैशबैक भी देते हैं !

फास्टैग की हानि:-

6. FASTag  टेक्निकल प्रॉब्लम

कभी-कभी फास्टैग में टेक्निकल समस्या हो जाने पर आपको टोल प्लाजा से से बहार नहीं जाने दिया जाता हैं !  जब तक की यह सुधर न जाये। यहा आपको बहुत घंटों तक भी रुकना पड़ सकता हैं। जो की एक समस्या हैं लेकिन ऐसा कभी कभार ही होता हैं !

7. Over Heat Of कार

कभी-कभी लोग अपने वाहनों को धुप में छोड़ देते हैं जिनसे फास्टैग ज्यादा हीट हो जाता हैं अधिक हीट होने के कारण फास्टैग में कुछ गड़बड़ या हमेशा के लिए ख़राब हो जाता हैं। और आपको नया फास्टैग बनवाना पड़ता हैं जिनमे पुनः पैसा लग जाता हैं।

8. डबल चार्जेज लग जाना

जब आपके FASTag  का सभी बैलेंस समाप्त हो जाता हैं और उसे रिचार्ज नहीं करते हैं !  और कही टोल प्लाजा पर जाकर फस गए तो आपसे डबल चार्जेज काटे जा सकते हैं। इसलिए हमेशा अपने फास्टैग को रिचार्ज करें !  ध्यान से यदि आप अपने वाहन के लिए फास्टैग नहीं बनवाते हैं तब आपसे डबल चार्ज लग सकता हैं !

9. फास्टैग से लोकल लोगो की परेशानी

फास्टैग से लोकल लोगो की अधिक परेशानी होती हैं। जहा टोल प्लाजा लगा रहता हैं !  वहा के लोगों को बार बार मार्केट आना जाना होता हैं ! वैसे में उन लोगो को वाहनों से आने जाने में दिकत होतो हैं !  क्योकि जितने बार आएंगे और जायेगे उतना बार उसे टैक्स देना पड़ेगा !  लेकिन इस समस्या का भी हल हैं यदि आपके भी घर टोल प्लाजा के आसा पास हैं ! तो आप टैक्स केंद्र में जाकर लोकल फास्टैग बनवा सकते हैं !

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फास्टैग कहाँ से ले सकते हैं?

भारत सरकार ने वाहन चालकों की सुविधा के लिए एक ऐसे घोषणा की हैं ! की वाहन चालक सीधे टोल केंद्र पर जाकर अपना फास्टैग आसानी से प्राप्त कर सकते हैं !

टोल केंद्र ने इन कार्डो के लिए पॉइंट ऑफ़ सेल्ल की सुविधा रखी हैं !इसका मतलब की आप कभी भी टोल केंद्र में जाकर फास्टैग कार्ड ले सकते हैं

साथ ही साथ इन प्लेटफार्म से भी फास्टैग खरीद सकते हैं !

  • टोल प्लाजा केंद्र से
  • RTO से
  • NHAI ऑफिस से
  • राष्टीय राजमार्ग पर मौजूद पेट्रोल पंप से
  • Amazon, Paytm, Flipcart, PhonePay से
  • मोबाइल बैंकिंग एप्प से
  • NHCL, NPCI, LHMCL वेबसाइट से

फास्टैग खरीदने के लिए कौन-कौन से डॉक्यूमेंट चाहिए?

 

  • गाड़ी के आरसी (रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट)
  • गाड़ी के Kyc डॉक्यूमेंट
  • ड्राइविंग लाइसेंस
  • पैन कार्ड, आधार कार्ड, वोटर आईडी
  • पासपोर्ट (ऑप्शनल)

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